अल्मोड़ा। नगर के आस पास के 25 गांवों को नगरपालिका में शामिल करने का मामला गरमा गया है। मंगलवार को विकास भवन में तालाबंदी के दौरान भाजपा किसान मोर्चा के जिलाध्यक्ष व कोतवाल के बीच धक्का मुक्की हो गई। किसी तरह बाद में मामला शांत हुआ। इस दौरान तालाबंदी करने पहुंचे ग्रामीणों ने पुलिस पर उत्पीड़न का आरोप लगाया। वही, पुलिस का कहना है कि जो लेाग अव्यवस्था फैलाने व शांति व्यवस्था भंग करने का प्रयास करेंगे तो ऐसे लोगों पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
दरअसल, नगरपालिका में शामिल किए जाने के विरोध में 14 ग्राम सभाओं के ग्राम प्रधान व ग्रामीण पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार विकास भवन पहुंचे। इस दौरान ग्रामीणों ने विकास भवन के बाहर प्रदर्शन किया और नारेबाजी। इस दौरान तहसीलदार कुलदीप पांडे, सीओ विमल प्रसाद के नेतृत्व में भारी संख्या में पुलिस बल मौके पर तैनात रहा। प्रदर्शन के बाद ग्रामीण विकास भवन के गेट में तालांबदी करने पहुंचे तो पुलिस ने उन्हें रोकने को प्रयास किया। जिससे ग्रामीणों व पुलिस के बीच कुछ देर तक काफी गहमागहमी रही।
इस दौरान भाजपा किसान मोर्चा के जिलाध्यक्ष एवं हवालबाग ग्राम प्रधान संगठन के पूर्व अध्यक्ष हरीश कनवाल व प्रभारी निरीक्षक कोतवाली राजेश कुमार यादव के बीच धक्का मुक्की हो गई। जिसके बाद वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने किसी तरह बीच बचाव कर मामला शांत कराया। हरीश कनवाल ने कोतवाल पर उन्हें धक्का देने का आरोप लगाया। उन्होंने पुलिस पर ग्रामीणों का उत्पीड़न करने का आरोप लगाया। वही, कोतवाल राजेश कुमार ने बताया कि वह मुख्य रास्ते से जा रहे थे, तो उन्होंने उनसे वहां से किनारे होने के लिए बोला। कोतवाल ने कहा कि धरना प्रदर्शन शांतिपूर्वक व प्रजातांत्रित तरीकें से हो तो सही है। लेकिन कुछ लोगों के चलते अगर आम जनता को दिक्कत होती है या फिर शांति व्यवस्था भंग होती है तो फिर पुलिस ऐसे लोगों पर कानूनी कार्रवाई करेगी।